दो महीना पहले हुई थी शादी, दुल्हन के हाथों की मेहंदी छुटने के पहले ही साथ निभाने का तोड़ गए वादा
सिलीगुड़ी : कश्मीर के राजौरी सेक्टर में हुए आतंकवादी हमले में शहीद हुए सिद्धांत छेत्री का रविवार को अंतिम संस्कार भारतीय फौज के रीति - रिवाज से संपन्न हो गया। भारत माता का कर्ज चुकाते हुए दार्जिलिंग का लाल सिद्धांत मात्र दो महीने पहले किया सात फेरों का वादा तोड़ कर पंचतत्व में विलीन हो गया। उसकी शहादत से जहां एक ओर नई - नवेली दुल्हन के आंसुओं से उसके हाथ की मेहंदी छूट गई, और रो - रो कर उसकी मां का गला बझ गया वहीं दूसरी ओर आंखो में अश्रु धारा थामे परिवार का सीना गर्व से चौड़ा हो रहा है।
शनिवार सुबह शहीद का शव वायु सेना के विशेष विमान से बागडोगरा पहुंचा। बेंगडूबी स्थित फौज की छावनी में सैन्य सम्मान के बाद तिरंगे में लिपटा शहीद का शव दार्जिलिंग स्थित उसके आवास पर पहुंचाया गया। पूरी रात शोक मानने के बाद रविवार को पूरे सैन्य सम्मान और भारतीय फौज की परंपरा के मुताबिक उनका अंतिम संस्कार किया गया।
बता दें कि शुक्रवार को जम्मू-कश्मीर के राजौरी सेक्टर में आतंकवाद विरोधी अभियान के दौरान बम विस्फोट में 5 जवान शहीद हो गए। विस्फोट में दो लोगों की मौके पर ही मौत हो गई। और चार जवान गंभीर रूप घायल हो गए। घायलों को उधमपुर कमांड अस्पताल में भर्ती कराया गया। इलाज के दौरान तीन जवान शहीद हो गए। जिसमे दार्जिलिंग के किजोम बस्ती निवासी 25 वर्षीय सिद्धांत छेत्री भी शहीद हो गए। वह 2019 में 9 पैरा कमांडो और बाद में 2021 में पैरा एसएफ में थे। दो महीने पहले ही विवाह करने के लिए सिद्धांत घर लौटा था। शादी के बाद बीते 14 अप्रैल को वापस ड्यूटी ज्वाइन किया था।
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